बुधवार, 13 मई 2020

वाट्स एप पर संचालित समूह साहित्यिक मुरादाबाद में प्रत्येक मंगलवार को बाल साहित्य गोष्ठी का आयोजन किया जाता है मंगलवार 12 मई 2020 को आयोजित बाल साहित्य गोष्ठी में शामिल मुरादाबाद मंडल के साहित्यकारों डॉ अर्चना गुप्ता, डॉ पुनीत कुमार, मीनाक्षी ठाकुर, सीमा रानी, स्वदेश सिंह, जितेंद्र कमल आनन्द, वीरेंद्र सिंह बृजवासी , डॉ ममता सिंह , प्रीति चौधरी, राशि सिंह ,डॉ अनिल शर्मा अनिल, अशोक विद्रोही ,राजीव प्रखर , श्री कृष्ण शुक्ला , डॉ श्वेता पूठिया, डॉ रीता सिंह, मरगूब हुसैन, कमाल जैदी वफा ,मनोज वर्मा मनु, रामकिशोर वर्मा, डॉ प्रीति हुंकार और मनोरमा शर्मा द्वारा प्रस्तुत रचनाएं -------


कोरोना ने आग लगाई
कुछ भी देता नहीं दिखाई

स्कूलों ने की लंबी  छुट्टी
हम बच्चों की आफत आई

घर में बन्द पड़े रहते अब
करनी पड़ती हमें सफाई

पहले मिलता फोन नहीं था
आज उसी पर करें पढ़ाई

दोस्त सखी नहीं अब कोई
दूरी सबसे खूब बनाई

मुरझाया भोला सा बचपन
मायूसी सी उस पर छाई

जीतेंगे तुझसे कोरोना
माना लंबी अभी लड़ाई

  ✍️ डॉ अर्चना गुप्ता
मुरादाबाद 244001
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लाठी टेक चला करतीं
सबसे जल्द उठा करतीं
उठ कर भरती पानी जी
नानी जी हां नानी जी

नकली दांत लगाती हैं
गन्ना तक खा जाती हैं
होती है हैरानी जी
नानी जी हां नानी जी

खाकर सत्संग में जाती
वापस वहां से जब आतीं
लाती हैं गुड धानी जी
नानी जी हां नानी जी

अच्छी बात बताती हैं
हंसते हुए सुनाती हैं
हर दिन नई कहानी जी
नानी जी हां नानी जी

चश्मा जब गुम हो जाता
कुछ भी नहीं है दिख पाता
हो जाती परेशानी जी
नानी जी हां नानी जी

✍️ डॉ पुनीत कुमार
T-2/505, आकाश रेसीडेंसी
मधुबनी पार्क के पीछे
कांठ रोड, मुरादाबाद - 244001
M-9837189600
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बड़े जोर से छींकी छुटकी,
गिरी हाथ से उसके मटकी।

बिखर गया मटकी से पानी,
डाँट लगाये मम्मी  रानी।

सुनकर दौड़ी आयी नानी,
बोली फिर भर लाओ पानी

हँसे जोर से मामा -नाना,
आ जाओ ,अब खाओ खाना।

मामी-मौसी झटपट आयीं,
हलवा पूरी आलू लायीं ।

 ✍️ मीनाक्षी ठाकुर
 मिलन विहार
मुरादाबाद 244001
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घर पर रहकर प्यारे बच्चे,
बोर नहीं अब होना तुम |
नित नई मिठाई खाकर,
मन ही मन खुश हाेना तुम |

कभी जलेबी कभी रसगुल्ला,
कभी रसमलाई खुल्लमखुल्ला |
नई इमरती फिर  बस बालूशाही ,
जी भर खाओ मिलकर भाई |

आलू टिक्की और पानी पूरी
 इडली डाेसा फिर गर्म कचौड़ी |
 प्यारे मिल जुल खाओ तुम,
 जी भर मौज मनाओ तुम |

 लॉकडाउन का पालन करना,
 सभी सुरक्षित घर में रहना |
 दाे गज दूरी सबकाे समझाना,
बस याद रहे काेराेना काे हराना |

✍🏻सीमा रानी
   अमराेहा
मोबाइल फोन नंबर 7536800712
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काश, श्याम बादल बन जाऊँ

नील-गगन में दूर-दूर तक
सैर-  सपाटा मैं कर आऊँ

जब देखूँ यह सूखी धरती
उमड़- घुमड़ कर शोर मचाऊँ

बूँदें बनकर पानी लाऊँ
छम-छम कर बरसूं हर्षाऊँ

शुष्क धरा की प्यास बुझाऊँ
 ला हरियाली हरा बनाऊँ

काश श्याम बादल बन जाऊँ


✍️ स्वदेश सिंह
सिविल लाइन्स
मुरादाबाद
मोबाइल 9456222230
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मुश्किल बहुत 'कमल' होता है।
बच्चों पर भी कविता लिखना।।

बच्चे कितने सीधे-साधे,
सरल हृदय होते मतवाले।
पढ़ना-लिखना,खेल-खिलौने,
काम करें ये अज़ब निराले ।
बात-बात में ये हैं रूठें,
चलता रहता कहना- सुनना।
मुश्किल बहुत कमल होता है ।
बच्चों पर भी कविता लिखना ।।

शादी-ब्याह रचाते बच्चे,
गुड्डों के सँग खेले गुड़िया ।
ये वो क्या सब मिलकर खायें,
भाती है काते की बुढ़िया ।
पल में रोना,पल में हँसना,
सँग-सँग खेलें भय्या-बहना।
मुश्किल बहुत कमल होता है ।
बच्चों पर भी कविता लिखना ।।

मत पूछो,मैं अपना बचपन,
भूल कहाँ आया हूँ, माधो!
उन बागों, चौबारों को मैं--
छोड़ चला आया हूँ, साधो!
गिल्ली-डंडा,दौड़- भाग सब,
धमा-चौकड़ी, का क्या कहना।
मुश्किल बहुत कमल होता है ।
बच्चों पर भी कविता लिखना ।।

अब बच्चों में खोज रहा हूँ,
कैसा अचरज,अपना बचपन।
जोगी में जोगा को देखूँ,
पार हो गया अब तो पचपन।
बच्चों में अपनी दुनिया है ।
धूप-छाँव में सब कुछ सहना।
मुश्किल बहुत कमल होता है ।
बच्चों पर भी कविता लिखना ।।

✍️जितेन्द्र कमल आनंद
मंगल भवन, सांई विहार कालोनी,
रामपुर 244901
उत्तर प्रदेश, भारत
 मोबाइल फोन नम्बर 73006-35812
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गोलू आओ, मोलू आओ,
मोनीचंद  बतोलू   आओ,
प्रेम    एकता    भाईचारा,
सारी  दुनियाँ  में फैलाओ।

घर से  दूध जलेबी  लाओ,
सबके साथ बैठकर खाओ,
कम मिलने पर जोभी रूठे,
सारे  मिलकर उसे मनाओ।

रंग - बिरंगी   नाव  बनाओ,
पानी   में   उनको   तैराओ,
सिर्फ  दोस्ती रखो  सभी से,
कुट्टी करके मत दिखलाओ।

सोओ जल्द शीघ्रउठ जाओ,
नहीं समय को व्यर्थ गंवाओ,
खोया  समय  नहीं   लौटेगा,
सदा  सत्य को  गले लगाओ।

मात-पिता को सीस नवाओ,
खा पीकर  विद्यालय जाओ,
ध्यान लगाकर  करो   पढ़ाई,
नहीं  गुरु  की  हंसी उड़ाओ,

अश्वथ,फ्योना तुमभीआओ,
अन्वी, अस्मी को भी लाओ,
देखो कोयल कुहुक  रही  है,
मीठे स्वर का साथ निभाओ।
गोलू आओ-----------------
       
✍️  वीरेन्द्र सिंह ब्रजवासी
 मुरादाबाद 244001
 मोबाइल फोन नंबर 9719275453
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तितली रानी ज़रा बताओ,
कौन देश से आती हो।
रस पी कर फूलों का सारा,
भला कहाँ छिप जाती हो।

इधर उधर उड़ती रहती तुम,
मन को बड़ा लुभाती हो।
अपने सुन्दर पंखों पर तुम,
लगता है इठलाती हो।

सब फूलों पर बैठ बैठ कर,
अपनी कला दिखाती हो।
पास मगर आने में सबके,
तुम थोड़ा सकुचाती हो।

पीले काले लाल बैंगनी,
कितने रंग सजाती हो।
मुझको तो लगता है ऐसा,
होली रोज़ मनाती हो।

✍️ डाॅ ममता सिंह
मुरादाबाद 244001
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मान कहना आदरणीय आपका
घर से बाहर न हम निकलेंगे
हम है देश के अनुशासित बच्चे
सीख आपकी सब मानेंगे
कोरोना को हराने के लिए
लोकडाउन का पालन हम करेंगे
देश हित में जो करना होगा
उससे कभी न पीछे  हटेंगे
रखो भरोसा,संकट के बादल
हमको डरा न पायेंगे
स्वयं प्रभा,दीक्षा के ज़रिए
पढ़ते नितदिन हम जायेंगे
कर रहे ख़ुद को तैयार
किसी मुसीबत से न घबरायेंगे
दहशत कोरोना के जो भी फैले
मनोबल को हमारे तोड़ न पायेंगे
योग,मनन ,चिंतन से
आंतरिक शक्ति को अपनी बढ़ायेंगे
मज़बूत इरादे देख हमारे
दाँतों तले उँगली लोग दबायेंगे
करते है वादा आपसे
देश का अपने सिर न झुकायेंगे
बन मिसाल दुनिया के समक्ष
अपने देश का मान बढ़ायेंगे
                 
                     ✍️प्रीति चौधरी
                                                               
                        (शिक्षिका)
                     राजकीय बालिका इण्टर कालेज
                      हसनपुर(अमरोहा)
               मोबाइल -9634395599
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एक था कौवा एक थी चील
बीच में उनके एक थी झील .

दोनों में हो गईऐसी  दोस्ती
जिसके चर्चे गूंजे बस्ती बस्ती .

​कौवा का  नाम था राजू
​चील कहलाती थी काजू .

​दोनों दिन भर साथ में रहते
​खूब धमाचौकड़ी दोनों करते .

​जब शाम को दोनों बिछड़ते
​आँखों से उनके आंसू उमड़ते .

​अपनी दोस्ती पर खूब इतराते
​हँसते गाते दोनों धूम मचाते .

​एक दूजे के काम में आते
​दोनों दोस्ती खूब निभाते .

​होमवर्क मिलजुलकर करते
​माता पिता की आज्ञा मानते .

​दोनों मम्मी पापा संग हाथ बांटते
​शाम को फिर दोनों खेलने जाते .

​✍️  राशि सिंह
​मुरादाबाद  244001
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मम्मी- पापा ! हमें बताओ,
क्या होता है आयुष क्वाथ?
इसको पीकर रहो सुरक्षित
सभी कह रहे एक ही बात ।।

राजा बेटा, रानी बिटिया,
प्रश्न तुम्हारा, मन भाया।
आयुष क्वाथ वहीं था बच्चों
दादी ने जो पिलवाया।।
तुलसी पत्र, सोठं या अदरक
काली मिर्च, दालचीनी ।
उन्हें पकाकर पानी में ,
वह दवा छानकर है पीनी ।।
ये ही आयुष क्वाथ है बच्चों,
रखे स्वस्थ इम्यूनिटी सिस्टम ।
इम्युनिटी मजबूत अगर तो,
नहीं बीमार पड़ेंगे हम ।।

इसी दवा को कहते काढ़ा,
नाम इसी का आयुष क्वाथ।
 थैंक्यू मम्मी, थैंक यू पापा!
समझ गए हम सारी बात।।

✍️ डॉ.अनिल शर्मा'अनिल'
धामपुर, उत्तर प्रदेश
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            कोरोना के जाल में
                          बच्चे हैं किस हाल में
            इस की झांकी देखिए
                          जंग है बाकी देखिए
             लंबी छुट्टी में भी घर में
                      रहने को मजबूर हुए
              नानी के घर जाने के सब
                      सपने चकना चूर हुए
             ऊब गए सब बच्चे नित
                अब धमा चौकड़ी करते हैं
             कभी खेलते कैरम, लूडो
                    कभी  खेल में लड़ते हैं
             पूछ रहे हैं प्रश्न पहेली
                            सूरज चंदा तारों पर
 रंग बिरंगी तितली परियों
                  फूलों और बहारों पर
बन जाते हैं रेल खेल में
                   सीटी कभी बजाते हैं
              दौड़ कभी ऊपर जाते हैं
                  छत पर पतंग उड़ाते हैं
 किंतु कभी कोरोना पर जब
                   मिल वह  बातें करते हैं
    प्रश्न करें दादी से क्यों सब
                  कोरोना से डरते हैं
 दादी कहती यह बीमारी
                    नई चीन से आई है
महामारी बनकर इसने
                दुनिया की नींद उड़ाई है
दादी कोरोना से कह दो
                अपने घर वापस जाये
और यदि है नहीं ठिकाना
               डूब नदी में मर जाए

  ✍️  अशोक विद्रोही
 412, प्रकाश नगर
मुरादाबाद 244001
 मोबाइल फोन नम्बर - 8218825541
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जन्मदिवस पर सबसे अच्छा,
पौधा हो उपहार।

उजड़ रहे हैं चहुँ दिशि उपवन,
बहुत विकट लाचारी।
ऐसे में तुम पर भी बच्चो,
आई ज़िम्मेदारी।
हरा भरा कल लाने को अब,
हो जाओ तैयार।
जन्मदिवस पर सबसे अच्छा,
पौधा हो उपहार।

आदत में अब कर लो शामिल,
क्यारी सदा सजाना।
हरियाली से ही जीवन है,
जन-जन को समझाना।
तुम ले जा सकते हो भू को,
इस संकट से पार।

जन्मदिवस पर सबसे अच्छा,
पौधा हो उपहार।

✍️ राजीव 'प्रखर'
मुहल्ला डिप्टी गंज
मुरादाबाद।
मो० 8941912642
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कोरोना तू जा जा जा।
खा के जहर कहीं मर जा।।

बहुत हो चुका तेरा राज।
बंद घरों में हैं हम आज।।
लॉबी, कमरा, बालकनी।
बस इतनी दुनिया अपनी।।
बंद हुआ है मौज मजा।
कोरोना तू अब तो जा।

कब हम बाहर जायेंगे।
यारों सँग बतियायेंगे।
फिर कब पिक्चर देखेंगे।
इंटरवल में खायेंगे।
डोसा,बर्गर या पिज्जा।
कोरोना तू अब तो जा।

घर यदि खुल भी जायेंगे।
गले न हम लग पायेंगे।
लंचबॉक्स इक दूजे के,
छूने से कतरायेंगे।
बहुत दे चुका हमें सजा।
कोरोना तू अब तो जा।

खाके जहर कहीं मर जा।
कोरोना तू जा जा जा।।

 ✍️श्रीकृष्ण शुक्ल, मुरादाबाद।
MMIG-69, रामगंगा विहार
मुरादाबाद 244001
मोबाइल नं. 9456641400
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मेरा बचपन मेरे गीत,
मेरा आँगन मेरे मीत,
छोटे सपने लम्बी नींद,
मेरा बचपन मेरे गीत।
सुंदर तितली सुंदर फूल,
लाती बारिश सुंदर बूंद,
उनमे नाचूँ मै कूद कूद,
मेरे बचपन मेरे गीत।
मेरी गुडिया मेरी प्रीत,
मेरा घर मेरा संगीत,
मै इनको क्यूँ जाओ भूल,
मेरा बचपन मेरी प्रीत।।

   ✍️ डा.श्वेता पूठिया
मुरादाबाद 244001
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चीं चीं चीं चीं गाए चिड़िया
दाना चुग-चुग खाए चिड़िया
मुनिया उसको पकड़ न पाए
फुर -फुर है उड़ जाए चिडिय़ा ।

चुन चुन तिनका लाए चिड़िया
सुंदर नीड़ बनाए चिड़िया
उड़ती फिरती कसरत करती
हिल-मिल प्यार बढ़ाए चिड़िया ।

सुबह सकारे आए चिड़िया
मीठा गीत सुनाए चिड़िया
राजू जगो भोर है प्यारी
सबके मन को भाए चिड़िया ।

 ✍️ डॉ. रीता सिंह
चन्दौसी (सम्भल)
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काश बड़ा मैं भी हो जाऊं,
आपी को फिर सबक सिखाऊं।
कैसे मुझपर हुक्म चलातीं,
बात न मानू चपत लगातीं।
मैं भी उनपर हुक्म  चलाऊँ,
काश बड़ा मैं भी हो जाऊं।
सुबह सवेरे मुझे जगाती,
कुल्ला मंजन खूब कराती।
सर्दी में भी हैं नहलाती,
मग भरकर फिर दूध पिलातीं।
चाहे मैं जितना चिल्लाऊं,
काश बड़ा मैं भी हो जाऊं।
शाला से जब घर आता हूं,
आपी को हँसते पाता हूं,
खुश होकर के मुझे चिढ़ातीं।
मुझसे कहतीं पानी लाऊं,
काश बड़ा मैं भी हो जाऊं।
मुन्ना कहकर मुझे बुलातीं,
काफी देर में खाना लातीं।
खाना खाकर हाथ धुलातीं,
फिर कहती है सबक सुनाऊं।
काश बड़ा मैं भी हो जाऊं।
अम्मा कहती आपी एक दिन,
हम सबसे जायेगी छिन।
प्यारा सा दूल्हा आयेगा,
आपी को संग ले जाएगा।
जब से अम्मा यह बतलाई,
मुझे रात भर नींद न आई।
चाहे आपी रोज सताये,
मुझे छोड़कर कहीं न जाये।
चाहे मुझ पर वह चिल्लाए,
या फिर मै उसपर चिल्लाऊं।
चाहे  जितना बड़ा हो जाऊं,
आपी से छोटा कहलाऊं।

✍️ कमाल जैदी 'वफा'
प्रधानाचार्य, अम्बेडकर हाई स्कूल बरखेड़ा मुरादाबाद
9456031926
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हम बच्चे अब
पहले जैसे बच्चे नहीं रहे,

अलग पले दादा -दादी का
 साथ न मिल पाया,
चाचा -चाची बुआ सभी
का मेहमानी साया,
एक अकेली आया है बस
 रिश्ते नहीं रहे,,

रंग -बिरंगे फूल- तितलियां
सब मॉनिटर पर,
आभासी दुनिया में जीते
हम ऐसे अवसर,
धूप सुनहरी क्या, वह छत
वह अंगने नहीं रहे,,

भेंट चढ़ गई प्रदूषण की
 होली - दीवाली,
क्या खुशियां त्योहारी सब
 लगता खाली खाली,
वह त्योहारी रंग-बिरंगे
सपने नहीं रहे,,

लगे हमारे बचपन में अब
सुर्खाबों  के  पर,
केवल   शिष्टाचार   ओढ़
जीना होता अक्सर,
बचपन से बतियाते दो पल
सच्चे नहीं रहे,

हम बच्चे अब
पहले जैसे बच्चे नहीं रहे,,...

✍️ मनोज वर्मा 'मनु'
मोबाइल फोन नम्बर    63970 93523
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खेल खेलना बंद किया है।
घर के अंदर बंद किया है ।।
खाने में शकरंद दिया है ।
कोरोना क्या फंद दिया है ।।
पढ़ना-लिखना बंद किया है ।
बातें करना चंद किया है ।।
गाने को बस छंद दिया है ।
कोरोना क्या फंद दिया है ।।
कब तक खेलें घर में घुसकर ।
कितना देखें टी वी पिक्चर ।।
कैसा यह अब दण्ड दिया है।
कोरोना क्या फंद दिया है ।।
चीन ने भी न सोचा होगा ।
बच्चे-बूढ़ों का क्या होगा?
सब कुछ उसने खण्ड किया है ।
कोरोना क्या फंद दिया है ।।
कब तक तेरा रोना होगा ।
सत्यानाश जल्द ही होगा ।।
तूने क्या पाखण्ड किया है ?
कोरोना क्या फंद दिया है ।।
पापा भी आफिस कब जाते ।
जैसे-तैसे खर्च चलाते ।।
तूने सबको झण्ड किया है ।
कोरोना क्या फंद दिया है ।।

✍️  राम किशोर वर्मा
   जयपुर (राजस्थान)
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याद बहुत आती है हमको
प्यारे  से विद्यालय मेरे ।
कब आयगा समय वो प्यारा
जब आएंगे द्वारे तेरे ।

शिक्षक बन्धु याद है आते
जिनका ज्ञान बड़ा अनमोल
कभी दिखाते हमपर गुस्सा
कभी बोलते मीठे बोल।
अबतो आलस बहुत सताय
पहले उठते रोज सबेरे ।
कब,,,,,,,,,,,,
छूट गए वो प्यारे साथी
जिनसे प्यार जताते थे
कभी लड़ाई कभी मेल से
उनको गले लगाते थे
हे प्रभु !सुनलो विनती हमारी
हम है अवसादों ने घेरे ।
कब,,,,,

✍️डॉ प्रीति हुँकार
मिलनविहार
मुरादाबाद 244001
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माँ-पापा का कभी ना जग में
दिल तुम  छोटा करना
तीखे बोलों से तुम उनको
कभी न आहत करना
तुम बच्चों की खातिर ही तो
नयनों में सपने पलते
उन नयनों में घृणा टीस के
मोती न जड़ने देना
अवगुण भी गुण बन जातें हैं
हम जब नम्र बन जाते
आशीर्वादों की छाया में
हम सब सुख में रहते ।
मर्यादाओं का रामराज्य
धरती पर लाना है
धरती है ये रत्न प्रसविनी
इसको हरा बनाना  है ।।।।
माँ पापा का कभी ना जग में
दिल छोटा तुम करना
तीखे बोलों  से  तुम उनको
कभी ना आहत करना।।।।

 ✍️ मनोरमा शर्मा
जट बाजार
अमरोहा
मोबाइल नं.7017514665
:::::::::::::::::::::::::::प्रस्तुति::::::::::::::::::::::::;::                     डॉ मनोज रस्तोगी
                     8, जीलाल स्ट्रीट
                     मुरादाबाद 244001
                     उत्तर प्रदेश, भारत
                    मोबाइल फोन नम्बर 9456687822



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