जब लम्बा हो सफ़र
तब भला कौन सोता है
जो करे व्यर्थ आज को
बाद में वही तो रोता है
कर गुज़रता है वही कुछ
मन में जिसके हौसला होता है
चैन कहाँ होता है उसे
आँखो में जिसके ख़्वाब होता है
नही पड़ता फ़र्क़ एक हार से
जीत का जब मन में ख़्याल होता है
नामुनकिन को जो करेगा मुमकिन
भीड़ में अकेला तू वो शख़्स होता है
जो छिपा हुआ बादलों में अभी
उस फलक पर तेरा नाम होता है
जो जानता है इस राज को
अकेला तू वो शख़्स होता है
ठहरेगी नज़र उसपर एक दिन
आज जो चेहरा आम होता है
पहचान जब बनेगी तुम्हारी
हर कोई फिर अपना होता है
ये कड़वा सच है मगर
कामयाबी के पीछे ही जहाँ होता है
रचता है वही इतिहास
जो मन में ठान लेता है
जब लम्बा हो सफ़र
तब भला कौन सोता है
*** प्रीति चौधरी
फ्रेंड्स कालोनी
गजरौला, अमरोहा
मोबाइल फोन नम्बर- 9634395599
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