कोरोना का है कहर, जूझ रहा संसार
बढ़ते ही अब जा रहे, इसके हुये शिकार
घर की सीमा में रहो, करो एक ये काम
कोरोना का बस यही, देखो है उपचार
जल को भी करना नहीं है हमको बर्बाद
हाथों को ये ध्यान रख, धोना बारंबार
हाथ जोड़ कर ही करो, सबको यहाँ प्रणाम
हाथ मिलाने के नहीं, अपने हैं संस्कार
खड़ी सामने मौत है, इसका रखना ध्यान
खतरनाक देखो बड़ा , कोरोना का वार
करनी है उसकी मदद, पूरा रखकर ध्यान
आसपास में गर दिखे, भूखा या बीमार
इक दूजे से दूर रह, टूटेगी जब चेन
हो जाएगी पूर्णतः, कोरोना की हार
कोरोना की मार ने, दिया ‘अर्चना’ वक़्त
चिंताओं को छोड़कर, खुद से कर लो प्यार
डॉ अर्चना गुप्ता
मुरादाबाद 244001
उत्तर प्रदेश, भारत
सरल एवम उपयोगी
जवाब देंहटाएं