काफी दौड़ धूप के बाद
एक गधे से इंटरव्यू का चांस मिला
हमारा मुरझाया हुआ दिल खिला
हमने उसको चाय पर बुलाया
डनलप के शानदार गद्दो पर बैठाया
गधे महाशय के चेहरे से
रोष झलक रहा था
अंग प्रत्यंग से आक्रोश टपक रहा था
उसका उखड़ा मूड देख
मन घबरा गया
माथे पर पसीने का
समंदर लहरा गया
हनुमान चालीसा पढ़ने के बाद
हमारा आत्मविश्वास जागा
हमने अपना पहला सवाल दागा
क्या कारण है
आजकल आप परेशान नजर आ रहे हैं
ना मुस्करा रहे हैं
ना खिलखिला पा रहे हैं
गधे ने हमारी ओर अचंभे से देखा
फिर दार्शनिक अंदाज में समझाया
भारत में इस समय भारी असंतोष है
कहीं पर हुए हैं सांप्रदायिक दंगे
कहीं लोगो में
विदेशियों के प्रति रोष है
कहीं मासूमों पर बलात्कार हो रहा है
कहीं हरिजनों पर अत्याचार हो रहा है
कहीं पर छात्र
आरक्षण के विरोध में चिल्ला रहे है
कहीं कुछ लोग
अलग राष्ट्र बनाने की बात उठा रहे हैं
कहीं पर डाकुओं का आतंक मचा है
कहीं बाढ़ आई है
कहीं सूखा पड़ा है
चारों तरफ मची है त्राहि त्राहि
बढ़ती ही जा रही है महंगाई
ऐसे माहौल में
कोई भी देशभक्त
खुश नहीं रह सकता है
और कोई पत्थर दिल आदमी ही
खुश रहने की बात कह सकता है
मैंने कहा
दुनिया में और भी बहुत से देश हैं
आप भारत की ही चिंता क्यों करते हैं
गधा बोला
भारत ही तो ऐसा देश है
जिसे हम अपना कह सकते है
भारतवासी हमसे
इतना अधिक प्यार जताते हैं
हर ऊंचे पद पर
हमारे ही किसी बंधु को बैठाते हैं
हर क्षेत्र में होती है हमारी पूजा
हमारे जैसा बुद्धिमान
यहां मिलता नहीं दूजा
यहां हमको
कोई भी असुविधा नहीं है
लेकिन बस एक ही बात
हमको मायूसी से भर देती है
यहां की पब्लिक
नेता तक की तुलना
हमसे कर देती है
✍️ डॉ पुनीत कुमार
मुरादाबाद-244001
मोबाइल फोन नंबर -9837189600
Bahut accha vyang
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