बुधवार, 10 जून 2020

मुरादाबाद मंडल के जनपद बिजनौर निवासी साहित्यकार डॉ अनिल शर्मा अनिल की लघु कथा--------- काश


 लाकडाउन में खूब नयी डिशेज बनाई गई घर में। रोज कुछ नया व्यंजन और नया स्वाद। दाल, रोटी, सब्जी,चावल के अलावा कभी और कुछ न बनाने वाली बहू से,सास ने पूछ ही लिया- " "यह रोज नई-नई डिश, बनाना कैसे सीख गयी?"
"मोबाइल पर,यूट्यूब पर सब कुछ है सीखने के लिए,मां जी।" बहू ने बताया।
 सारे दिन टीवी सीरियल देखते रहने वाली सास ने कहा,-" काश हमारे समय में यह मोबाइल होता।"
                   
 ✍️ डॉ.अनिल शर्मा 'अनिल'
धामपुर

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